मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कहा कि इन सभी शिक्षण संस्थाओं में प्रत्येक कक्षा में विद्यार्थियों की 50% उपस्थिति प्रथम दिन तथा शेष 50% उपस्थिति अगले दिन रहेगी. उन्होंने इसकी व्यवस्था सुनिश्चित करने के निर्देश दिए हैं. राजस्थान में विद्यालय सत्र 2020 – 21 के लिए स्कूल 18 जनवरी से खोले जा रहे हैं.
सोमवार से स्कूलों में फिर से बजेगी घंटी: स्कूलों में कहीं सफाई तो कहीं सैनेटाइजेशन शुरू हुआ, 308 दिन की छुट्टियों के बाद 18 जनवरी से खुलेंगे*
JAIPUR: The state government finally issued orders to
coaching centres and higher education institutes on Wednesday. Specific guidelines have been issued for coaching institutes in which the government has said that online teaching must remain an option while allowing classroom teaching from 18 January
Coaching institute must keep social distancing norms in classrooms, open doors/windows for ventilation, sanitise classrooms and have a gap of 30 minutes between two batches
*राज्य सरकार ने कक्षा 9 से 12 तक की कक्षाएं शुरू करने की अनुमति दी है*
प्रदेश के सरकारी व गैर सरकारी स्कूलों में एक बार फिर घंटी बजने वाली है। 308 दिन के अवकाश के बाद कक्षा 9 से 12 तक की कक्षाएं शुरू करने के लिए स्कूलों में उत्साह देखा जा रहा है। स्कूलों में इन दिनों क्लासेज की सफाई और सैनेटाइजेशन का काम चल रहा है। कोरोना गाइडलाइन्स के चलते भले ही स्टूडेंटस की संख्या आधी रहेगी लेकिन नियमित कक्षाएं शुरू होना ही टीचर्स को सुखद अहसास करा रहा है।
राज्यभर में 15 मार्च को स्कूलों की छुटि्टयां कर दी गई थी, जिसके बाद पिछले महीने बच्चों को मार्गदर्शन के लिए ही स्कूल आने की अनुमति दी गई। यह पहला मौका है जब 18 जनवरी से नियमित रूप से स्कूल शुरू करने की अनुमति दी गई है। राज्यभर में करीब 40 लाख बच्चों को अब स्कूल जाने का अवसर मिलेगा, जो कक्षा 9 से 12 वीं क्लास के हैं। इनमें से 21 लाख स्टूडेंट्स की तो 15 मई से परीक्षा शुरू हो जाएगी। राज्य सरकार ने 40 फीसदी कोर्स कम कर दिया है, जबकि छुटि्टयां इससे भी अधिक हो गई हैं।
बीकानेर के सेवेगो की बगीची में स्थित राजकीय सीनियर सैकंडरी स्कूल में भी 4-5 कमरों की सफाई की गई है। एक बार सैनेटाइजेशन हो चुका है जबकि एक बार और सैनेटाइजेशन की तैयारी है। स्कूल प्रिंसिपल योगिता व्यास स्कूल फिर से खुलने से रोमांचित है। उनका कहना है कि ऐसे लग रहा है कि सब कुछ पहली बार हो रहा है, बच्चों का बकायदा स्वागत किया जाएगा।
उन्होंने कहा कि हमारे पास समय कम है। लेकिन बचा हुआ कोर्स जल्द से जल्द करवाने की कोशिश करेंगे। ताकि बच्चों का नुकसान नहीं हो। बस एक ही दुआ करनी है कि फिर कभी स्कूल ऐसे बंद न हो। इसी स्कूल के शिक्षक अनिल व्यास कहते हैं कि बच्चे मार्गदर्शन कक्षाओं में कुछ लेसन कर चुके हैं, शेष लेसन भी जल्द पूरे हो जाएंगे। हम अतिरिक्त क्लास लेकर भी करवा देंगे। इसके अलावा बीकानेर के फोर्ट सीनियर सैकंडरी स्कूल, सार्दुल सीनियर सैकंडरी स्कूल, महर्षि दयानन्द गर्ल्स स्कूल, महारानी गर्ल्स स्कूल में भी क्लासेज की सफाई शुरू हो गई है।
*कोई अतिरिक्त बजट नहीं*
स्कूलों को फिर से शुरू करने से पहले सैनेटाइजेशन सहित अन्य प्रबंधों के लिए स्कूलों काे कोई अतिरिक्त बजट नहीं मिला है। दरअसल, हर स्कूल को छात्र संख्या के आधार पर विशेष बजट मिलता है। ऐसे में अधिकांश को 50 से 75 हजार रुपए तक मिलते हैं। इसी बजट से सैनेटाइजेशन व अन्य काम करने होंगे।
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